श्री गजानन जी महाराज अंबिका आश्रम श्री बालीपुर धाम में कथा का सप्तम दिवस एवं भण्डारा। 108 रामायण पाठ का भी वाचन हो रहा है
—पंडित ब्रज किशोर नागर जी महाराज द्वारा भागवत कथा के सप्तम दिवस पर श्री अंबिका आश्रम श्री बालीपुर धाम में गुरु पूर्णिमा के पावन अवसर के पूर्व धार्मिक कार्यक्रम में कथा में महाराज जी ने कहा कि श्राद्ध में ब्राह्मण को भोजन कराना चाहिए।पितरों की मुक्ति हेतु श्राद्ध तर्पण ब्राह्मण से करवा कर ही भोजन करना चाहिए। जितने भी परिवार के सदस्य गए हैं उनको मुक्त होने के लिए श्राद्ध पक्ष में भोजन करवाना चाहिए। सर्वप्रथम नागर जी महाराज ने बाबा जी ,सुधाकर जी महाराज, योगेश जी महाराज ,श्री भागवत का पूजन आसान कर गुरु मंत्र कहकर फिर कथा प्रारंभ हुई। श्री महाराज को पुष्पों से सुशोभित किया ।एकादशी को भोजन नहीं करने से स्वास्थ्य एवं आध्यात्मिक ज्ञान से भी लाभप्रद है । एक दृष्टांत में बताया कि जो मन की बात करते हैं वह हमेशा जीवन से धोखा खाते हैं । जिसने साधना, जाप किया, उनको हमेशा वंदन करना चाहिए ।गोविंद मेरो है गोपाल मेरो है , बांके बिहारी नंदलाल मेरो है ।।कि भजन की प्रस्तुति की गई। श्री राम चरित्र मानस का रामायण पाठ 108 हो रहा है जिसमें सभी श्रद्धालु भक्त अपने-अपने रामायण का वाचन कर रहे हैं। नवनीत पाटीदार, जगदीश पाटीदार अध्यापक,पन्नालाल, राजू भाई देवड़ा ,रोकडिया भाई, मोहन भाई ,राधेश्याम भूत , पी भगवान भाई जीजी ,मनावर आदि उपस्थित थे।
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