मोहन शर्मा Sj न्यूज़ एमपी
लोकेशन:- शिवपुरी
शिवपुरी- पंचायत एवं ग्रामीण विकास मंत्री और शिवपुरी जिले के प्रभारी मंत्री महेंद्र सिंह सिसोदिया शिवपुरी भ्रमण पर आए। उन्होंने कलेक्ट्रेट सभाकक्ष में मुख्यमंत्री लाड़ली बहना योजना, जल आवर्धन योजना और उपार्जन की समीक्षा की। मुख्यमंत्री लाड़ली बहना योजना के तहत अभी जिले में 2 लाख 10 हज़ार पंजीयन हो चुके है।
महिला एवं बाल विकास विभाग के जिला कार्यक्रम अधिकारी ने योजना की प्रगति के संबंध में जानकारी दी। योजना के तहत आवेदन भरने की प्रक्रिया तेजी से चल रही है। इसमें विधानसभा वार कितने आवेदन हुए हैं इसकी जानकारी उपलब्ध कराने के निर्देश प्रभारी मंत्री ने दिए हैं। यह शासन की बहुत ही महत्वपूर्ण योजना है।
कोई भी पात्र महिला हितग्राही इस योजना के लाभ से वंचित नहीं रहना चाहिए। प्रभारी मंत्री ने बैठक में उपार्जन प्रक्रिया की भी समीक्षा की। इसके अलावा जिला पंचायत सीईओ को निर्देश दिए कि जिन स्कूलों में बाउंड्रीवाल नहीं है उन्हें चिन्हित करके प्रस्ताव भेजें। प्रत्येक विधानसभा में कम से कम 20 स्कूल की बाउंड्री बनवाई जाएगी। उन्होंने टेक होम राशन, ओलावृष्टि से हुई फसल क्षति का मुआवजा आदि के संबंध में भी चर्चा की। इसके अलावा खाद्य विभाग को निर्देश दिए हैं कि निगरानी समिति का गठन करें और इसी समिति की निगरानी में राशन वितरण किया जाए।
बैठक में कोलारस विधायक वीरेंद्र रघुवंशी, जिला पंचायत अध्यक्ष नेहा यादव, जिला अध्यक्ष राजू बाथम, पूर्व विधायक महेंद्र यादव सहित अन्य जनप्रतिनिधि गण और अधिकारी उपस्थित रहे।
प्रभारी मंत्री ने जल आवर्धन योजना की समीक्षा की।
इस योजना के तहत हर घर नल से जल पहुंचाने का लक्ष्य रखा गया है जिसमें शिवपुरी में समूह योजना के तहत 1023 गांव चिन्हित किए गए हैं। अभी मड़ीखेड़ा जल प्रदाय योजना पर काम चल रहा है जिसमें कुल 752 गांव सम्मिलित हैं। जल निगम के जीएम अनंत शर्मा ने जानकारी देते हुए बताया कि अभी वसई समूह जल प्रदाय योजना का काम पूरा हो गया है और मड़ीखेड़ा समूह जल प्रदाय योजना का काम जारी है।
जनवरी 2024 तक इस योजना का काम पूरा होना है। प्रभारी मंत्री ने निर्देश दिए हैं कि योजना के तहत गुणवत्तापूर्ण काम होना चाहिए। लगातार इसकी निगरानी करें। यह शिवपुरी जिले के बड़ी संख्या को पेयजल की उपलब्धता कराएगी। योजना के तहत जिन गांव में खुदाई की गई है उसकी भी मरम्मत साथ में की जाए। इसमें राशि ग्राम पंचायत को उपलब्ध कराई जाए। जो जनपद सीईओ की निगरानी में काम हो और ग्राम सभा द्वारा इसका सत्यापन कराया जाए।
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