पांच भाईयों और रिश्तेदार ने की थी हनुमान टेकरी पर डकैती, तीन आरोपी राजस्थान के झालावावाड़ जिले से गिरफ्तार,भगवान के आभूषणों को गलाकर चांदी की ईंट बनावा चुके थे आरोपी, जमीन में गाढ़ रखा था सामान ,पत्रकारवार्ता में पुलिस अधीक्षक ने किया खुलासा, आभूषण गलाने वाला सोनी भी दबोचा

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पांच भाईयों और रिश्तेदार ने की थी हनुमान टेकरी पर डकैती, तीन आरोपी राजस्थान के झालावावाड़ जिले से गिरफ्तार,भगवान के आभूषणों को गलाकर चांदी की ईंट बनावा चुके थे आरोपी, जमीन में गाढ़ रखा था सामान ,पत्रकारवार्ता में पुलिस अधीक्षक ने किया खुलासा, आभूषण गलाने वाला सोनी भी दबोचा

जिलेभर में आस्था का केंद्र हनुमान टेकरी मंदिर पर हुई चोरी के मामले में पुलिस ने तीन आरोपियों को गिरफ्तार किए हैं। जबकि पांच अन्य अभी भी फरार हैं। पुलिस ने आरोपियों से भगवान हनुमान जी का चांदी का मुकुट, चांदी का पर्वत, चांदी का छत्र, चांदी का एक मदा, चरण पादुका, हृदयाभूषण व सिद्ध बाबा का चाँदी का त्रिपुण्ड व दुर्गा माता का चाँदी का मुकुट एवं फरियादी चौकीदार शिशुपाल यादव का मोबाईल तथा गलाए गए आभूषणों की चांदी की एक सिल्ली वजनी करीबन 2 किलोग्राम बरामद किए हैंं। जिनकी कुल कीमत करीबन 9 लाख रुपए है। मंगलवार को पुलिस अधीक्षक संजीव कुमार सिन्हा ने पुलिस कंट्रोल रूम पर आयोजित पत्रकार वार्ता में तीन आरोपी बाबूलाल पुत्र नारायण कालबेलिया निवासी ग्राम बंदाजागीर, थाना कामखेडा, जिला झालाबाड, राजस्थान, रैकी करने वाला शंकरनाथ उर्फ रमेश पुत्र गंगाराम नाथ निवासी ग्राम मुंडेरी, थाना मंडावर, जिला झालावाड, राजस्थान एवं मोहित पुत्र भेरूलाल सोनी निवासी अकलेरा, जिला झालावाड, राजस्थान को गिरफ्तार कर पेश किया।

जबकि फरार आरोपियों में हरिसिंह पुत्र नास्यण कालबेलिया, अभयसिंह पुत्र नारायण कालबेलिया, भगवानसिंह पुत्र नारायण कालबेलिया, साबिर पुत्र नारायण कालबेलिया निवासीगण ग्राम बंदाजागीर, थाना कामखेडा, जिला झालाबाड़ राजस्थान, बाबू पुत्र कानानाथ निवासी ग्राम गोविंदा, थाना रामगंज मंडी, जिला कोटा, राजस्थान शामिल हैं।

दरअसल 24-25 अगस्त 2024 की मध्यरात्रि में अज्ञात बदमाशों के द्वारा श्री हनुमान टेकरी मंदिर में घुसकर मंदिर के चौकीदार शिशुपाल यादव एवं बाबूसिंह यादव की मारपीट कर उन्हें बांधकर मंदिर में से भगवान हनुमान जी के, सिहबाबा के एवं दुर्गामाता के आभूषण, दानपात्र की राशि व चौकीदार शिशुपाल यादव का मोबाईल लूट लिया गया था। चौकीदार श्री यादव की रिपोर्ट पर से थाना केंद्र में अपराध कायम कर विवेचना में लिया गया था। चूंकि श्री हनुमान टेकरी मंदिर आम जनमानस का आस्था का केंद्र था, इसलिए उक्त वारदात शहर की जनता के बीच चर्चा का विषय बन गयी थी। शहर में चर्चा थी कि उक्त डकैत कब पकड़े जाएंगे, कब भगवान के आभूषण बरामद होंगे। इसी के चलते यह केस पुलिस के लिए चुनौती बन गया था। इस मामले में एसपी संजीव कुमार सिन्हा द्वारा तत्काल ही एसडीओपी राघौगढ़ दीपा डोडवे व प्रभारी सीएसपी भरत नोटिया के नेतृत्व में अज्ञात आरोपियों की पतारसी हेतु एक विशेष अनुसंधान दल (एसआईटी) का गठन किया गया था। आरोपीगण की गिरफ्तारी हेतु 30,000 रुपये का इनाम पुलिस महानिरीक्षक, ग्वालियर जोन से उदयोषित कराया गया था। वहीं मामले मेंं पुलिस महानिरीक्षक, ग्वालियर जोन के द्वारा भी तकनीकी सहयोग हेतु एक टीम लगाई गई। आरोपीगण की पतारसी के लिए गठित एसआईटी को 04 टीमों में बांटा गया। सभी को अपना-अपना कार्य दिया गया। टीमों के द्वारा लगातार कड़ी मेहनत से विभिन्न मुखबिरों की सूचना एवं विभिन्न तकनीकी साधनों का प्रयोग करते हुए विभिन्न स्थानों पर लगे लगभग 500 कैमरों को चैक किया। वहीं घटना के समय सक्रिय मोबाईलों की जांच की गई। जिनसे प्राप्त जानकारी के आधार पर ग्राम बंदा जागीर के कुछ लोगों पर संदेह हुआ तो कुछ पुलिसकर्मियों को सादा ड्रेस में संदेहियों के गांव में आर्थिक सर्वे करने हेतु भेजा गया। जब संदेह यकीन में बदला तो ग्राम बंदा जागीर जिला झालावाड़ राजस्थान में कालबेलियों के टपरों पर दबिश दी गई। जहां एक अधेड़ महिला तथा एक अधेड़ लकवाग्रस्त पुरूष मिल। जिनसे पूछताछ की गई तो अधेड़ महिला शांति बाई पत्नि नारायण कालबेलिया ने बताया कि मेरे सात लडक़े हैं। सातों रात को ही अपनी पत्नि व बच्चो के साथ अचानक कहीं चले गए हैं। जिनका उसे पता नहीं है। घर की तलाशी ली गई तो घर में हनुमान टेकरी मंदिर में डकैती डालते समय आरोपियो द्वारा धारण किए गए रैनकोट व अन्य सामान व कपडे मिले जिन्हें जप्त किया गया। इसके उपरांत शांति बाई को साथ लेकर पुलिस टीम चित्तोडगढ़ के लिए खाना हुई। रास्ते में चित्तोडगढ़ से पहले रोड किनारे तीन पुरूष अपने परिवार के साथ बैठे थे। जिन्हें देखकर महिला शांति बाई ने इशारा करके बताया कि ये मेरे बच्चे हैं। जिस पर पुलिस ने तत्काल गाड़ी रोककर फोर्स के साथ दबिश दी गई, तो एक व्यक्ति बाबूलाल कालबेलिया पकड़ में आया। जबकि अन्य आरोपी मौके से भागने में सफल रहे।

उक्त संदेही बाबूलाल से पूछताछ की गई, पहले तो उसने घटना के विषय में अनभिज्ञता जाहिर की। तब उसके बाएं पैर की उंगलियों का मिलान टेकरी के सीसीटीव्ही फुटेज से किया गया तो मंदिर के गर्भगृह में घुसने वाले एक आरोपी से मिल रहीं थी। उसे जब फुटेज दिखाकर पूछताछ की गई तो वह टूट गया तथा अपना जुर्म स्वीकार करते हुए बताया कि हनुमान टेकरी में डकैती मैंने अपने पांच भाईयों के साथ मिलकर डाली थी। डकैती डालने से लगभग दस-बारह दिन पहले हमने अपने भाई हरि सिंह के साथ रमेश उर्फ शंकरनाथ को रैकी करने के लिए भेजा था। डकैती के वक्त हम 5 भाईयों एवं एक रिश्तेदार बाबू पुत्र कानानाथ ने ही डाली थी। डकैती के समय रमेश उर्फ शंकरनाथ को नहीं ले गए थे। डकैती में जो चाँदी हम लूट कर लाए थे उनमें से कुछ चाँदी के आभूषणों की सुनार मोहित सोनी को घर बुलाकर गलवाकर हम ईंट बनवा लिए थे। बाकी के आभूषणें को घर के सामने बगीचे में गढ्डा खुदवाकर गाड़ दिए हैं। जिस पर पुलिस ने आरोपी की शिनाख्त पर माल बरामद किया।

इसके उपरांत जब पाऊसेर्ट अन्य आरोपीगण को तलाश करते हुए गुना के लिए रवाना हुआ। तभी रास्ते में कामखेड़ा में आरोपी बाबूलाल ने एक व्यक्ति को देखकर बताया कि यह शंकरनाथ उर्फ रमेश है। जो हरिसिंह के साथ रैकी करने गया था। पुलिस ने रमेश को तत्काल गिरफ्तार किया गया व थाना लाया गया। इसी क्रम में 16 सितंबर को पुन: टीम के द्वारा मुखबिर की सूचना पर से आरोपी सुनार मोहित पुत्र भेरूलाल सोनी निवासी अकलेरा जिला झालावाड़ राजस्थान को गिरफ्तार किया। प्रकरण में अन्य 5 आरोपीगण हरिसिंह कालबेलिया अभयसिंह कालबेलिया, भगवानसिंह कालबेलिया, साबिर कालबेलिया निवासीगण ग्राम बंदा जागीर थाना कामखेड़ा जिला झालावाड़ राजस्थान व बाबू पुत्र कानानाथ निवासी ग्राम गोविंदा थाना रामगंज मंडी जिला कोटा राजस्थान फरार हैं, जिनकी तलाश जारी है।

टेकरी मंदिर डकैती की उपरोक्त बारदात का पर्दाफाश करने एवं आरोपीगण की गिरफ्तारी व लूटे गए माल की बरामदगी करने में एसडीओपी राघौगढ़ दीपा डोडवे, सीएसपी भरत नोटिया, थाना प्रभारी कोतवाली निरीक्षक अनूप भार्गव, निरीक्षक दिलीप राजौरिया, प्रभारी रेडियो निरीक्षक विकास उपाध्याय, उपनिरीक्षक प्रभात कटारे, उपनिरीक्षक चंचल तिवारी, सउनि भूपेन्द्र सेंगर, प्रधान आरक्षक राहुल भदौरिया, प्रधान आरक्षक बृजेश त्यागी, प्रधान आरक्षक राजीव शुक्ला (ग्वालियर), आरक्षक धरिन्द्र गुर्जर, आरक्षक जितेन्द्र वर्मा, आरक्षक राजीव रघुवंशी, आरक्षक नवदीप अग्रवाल, आरक्षक विनीत शर्मा, आरक्षक आदित्य सिंह कौरव, आरक्षक अमित जाट, आरक्षक देवेन्द्र नरूका, आरक्षक रत्नेश राजावत (ग्वालियर), आरक्षक नीतेश रघुवंशी, आरक्षक संजय जाट, आरक्षक गौरीशंकर सांसी, आरक्षक धीरेन्द्र राजावत, आरक्षक कुलदीप भदौरिया, आरक्षक धर्मेन्द्र रघुवंशी, महिला आरक्षक रक्षा कंवर, आरक्षक राजीव सेन, आरक्षक माखन चौधरी, आरक्षक अर्जुन यादव, आरक्षक भानू रघुवंशी, आरक्षक शिवकुमार स्युवंशी, आरक्षक रानू रघुवंशी, आरक्षक राजकुमार रघुवंशी, आरक्षक ओमवरण प्रभयान एवं आरक्षक राजेश जाटव को सराहनीय भूमिका रही है।

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